Join Us On What'apps 09416682080

?? Dabwali ????? ?? ???? ????, ?? ?? ?? ??? ???? ??????? ???? ?? ??? ?? ??????? ?? ?????????? ?? ?? ??????, ?? ????? ?? ???? ???????? ???? ???? dblnews07@gmail.com ?? ???? ??????? ???? ?????? ????? ????? ?? ????? ?????????? ?? ???? ???? ??? ?? ???? ?????? ????? ???? ????? ??? ?? 9416682080 ?? ???-??, ????-?? ?? ?????? ?? ???? ??? 9354500786 ??

Trending

3/recent/ticker-posts

Labels

Categories

Tags

Most Popular

Contact US

Powered by Blogger.

DO YOU WANT TO EARN WHILE ON NET,THEN CLICK BELOW

Subscribe via email

times deal

READ IN YOUR LANGUAGE

IMPORTANT TELEPHONE NUMBERS

times job

Blog Archive

टाईटल यंग फ्लेम ही क्यूं?

Business

Just Enjoy It

Latest News Updates

Followers

Followers

Subscribe

Lorem Ipsum is simply dummy text of the printing and typesetting industry. Lorem Ipsum has been the industry's.

Pages

Most Popular

मसाज सेंटर पर पुलिस का छापा ,पंजाब पुलिसकर्मी समेत चार दबोचे
चेयरमैन आदित्य देवीलाल चौटाला ने किया दो नए खरीद केंद्र का शिलान्यास व एक सड़क का उद्घाटन
स्टेराइयड की दवा की तलाश में की छापेमारी, ब्लैक फंगस की वजह से किया गया है प्रतिबंधित
एक स्पताह में होगी स्थाई तहसीलदार की नियुक्ति: राजा  संरा
BREAKING NEWS  लॉकडाउन 4. 0  डबवाली में कोरोना ने दी दस्तक
मुठभेड़ के दौरान पुलिस ने चारों तरफ से घेरा तो गैंगस्टर्स ने कर लिया सुसाइड
 Corona Update - 65 पॉजिटिव, 60 डिस्चार्ज
मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल पर फेंका गया जूता
हरियाणा में बढ़ा लॉकडाउन ,अगले एक हफ्ते के लिए सख्ताई और भी कड़ी अब ऐसे होगी नई गाइडलाइन्स
इंकम टैक्स के छापे पंजाब में, कंपकंपी हरियाणा में! 25 दिसंबर को पूरे हरियाणा में मंडी बंद रखने का ऐलान

Popular Posts

Secondary Menu
recent
Breaking news

Featured

Haryana

Dabwali

Dabwali

health

[health][bsummary]

sports

[sports][bigposts]

entertainment

[entertainment][twocolumns]

Comments

दो विभागों के खेल में उलझी योजना ने तोड़ा दम,हवा हो गई पार्किंग व सीटिंग स्टेयर का निर्माण




डबवाली न्यूज़
श्री गुरू गोबिंद सिंह खेल परिसर में एक भी ऐसी सुविधा नहीं है जिसके बूते खिलाडिय़ों की नई पौध तैयार की जा सकेगी। न खेलने योग्य मैदान है और न ही कोई सामान। एक बैडमिंटन हॉल है लेकिन उसकी देख भाल भी खिलाड़ी अपने स्तर पर करते हैं, बिजली की सुविधा तक नहंी है और प्रशिक्षक यानि कोच तो यहां कभी नियुक्त किया ही नहीं गया। पूरे स्टेडियम में केवल एक ही कोच है और वह है हैंडबाल का। इसके अतिरिक्त कोई प्रशिक्षक नही है। इसके बावजूद भी वर्ष 2018 के जुलाई माह में खेल विभाग द्वारा इस स्टेडियम में वीआईपी पार्किंग व सिटिंग स्टेयर का निर्माण करने की योजना बनाई गई थी। इसके लिए विभाग द्वारा 30 लाख की अनुमानित राशि जारी की गई थी। सर्वप्रथम तो यह राशि किस आधार पर खर्च की जानी थी यह बात किसी की समझ में नही आई। जब खेल स्टेडियम में न तो खेलने लायक मैदान है और न प्रशिक्षक ऐसे में पार्किंग किस लिए और सीटिंग स्टेयर किसके लिए बनाई जानी थी कोई समझ नहीं पाया। अब जब बीते वर्ष इस निर्माण के लिए 30 लाख की राशि जारी कर दी गई तो कम से कम इसका निर्माण कार्य तो अब तक पूरा हो जाना चाहिए था लेकिन नही हो पाया। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार खेल स्टेडियम में पार्किंग और सीटिंग स्टेयर का निर्माण करवाने का जिम्मा मार्केट कमेटी ने संभाल लिया और टैंडर नोटिस जारी कर दिया।
टैंडर प्रक्रिया आरंभ हो गई और इसका ठेका एक ठेकेदार को दे दिया गया। जब काम आरंभ करने का समय आया तो मार्केट कमेटी व पंचायती विभाग में इस निर्माण को करवाने के लिए विवाद उत्पन्न हो गया और इसी विवाद के चलते मार्केट कमेटी को यह टेंडर निरस्त करना पड़ा। जाहिर सी बात है जब मार्केट कमेटी ने टेंडर निरस्त कर दिया तो इसके निर्माण की जिम्मेवारी पंचायती विभाग पर आ गई। पंचायती विभाग की वही लचर कार्यशैली के कारण आज तक इस ओर एक कदम भी नहीं बढ़ाया गया है। अब पाठक स्वयं ही अनुमान लगा लें कि प्रदेश व केंद्र सरकार द्वारा सामान विकास का नारा कहां जाकर अपनी आवाज बुलंद करता है।


खिलाडिय़ों को करनी होगी आवाज बुलंद


सरकार व खेल विभाग की उदासीनता और प्रशासनिक अधिकारियों की लापरवाही के कारण अनेक सरकारी योजनाएं सफल नहीं हो पा रही हैं। घोषणाएं तो बड़ी बड़ी की जाती हैं और दावे-प्रतिदावे भी किए जाते हैं लेकिन यह सब औचारिकता मात्र ही होते हैं और अनेक योजनाएं तो कागजों तक ही सिमट कर रह जाती है और धरातल पर इसका कोई उदाहरण तक नहीं मिलता।सबसे बड़ी विडम्बना तो यह है कि जनता की मेहनत की कमाई से एकत्रित किए गए राजस्व से गांव-गांव, शहर-शहर खेल परिसरों का निर्माण तो करवा दिया जाता है लेकिन इन खेल परिसरों में प्रशिक्षण के साथ जरूरी खेल का सामान तक मुहैया करवाना जरूरी तक नहीं समझां जाता। ऐसे में अनेक प्रतिभाएं अंधकार में खो जाती है और कुछ प्रतिभाएं ऐसी भी होती हैं जो बिना किसी सरकारी सहायता के इस क्षेत्र में बहुत आगे निकल जाती हैं। खेल में रूचि रखने वाले खिलाडिय़ों को अपने हितों की आवाज सरकार के समक्ष उठानी चाहिए। यदि खिलाड़ी ऐसा नहीं करेंगे तो सरकार कोई ठोस कदम उठाने वाली नही है। सरकार केवल इमारतें खड़ी करने और उनका शिलान्यास व उद्घाटन करने तक ही सीमित रहती है। इसके आगे कुछ नही


मात्र एक कोच के भरोसे सब कुछ

डबवाली के खेल परिसर में केवल हैंड बाल के कोच के अतिरिक्त अन्य किसी गेम का प्रशिक्षण देने के लिए एक भी कोच नही है। ऐसे में यह कल्पना भी कैसे की जा सकती है कि इस खेल परिसर से बैडमिंटन, क्रिकेट, कुश्ती, रेसलिंग, हॉकी, तीरदांजी जैसे अनेक खेलों के लिए खिलाड़ी यहां से तैयार कर पाएंगे।सबसे बड़ी विडम्बना तो यह है कि एक वृद्ध चौकीदार को छोडक़र यहां चतुर्थ श्रेणी का कर्मचारी तक नही है। खेल परिसर में करोड़ों रूपये की लागत से बने स्टेज व इमारतें भी दिन प्रतिदिन जर्जर होती जा रही हैं।खेल विभाग ने इसकी कभी सुध तक नहीं ली।हां यह अलग बात है कि इस खेल परिसर में एक अस्थाई रूप से प्राथमिक पाठशाला चलाई जा रही है। इस पाठशाला में हर्ष नगर, चौहान नगर, सुंदर नगर व इंद्रा नगर सहित अन्य बस्तियों में रहने वाले गरीब परिवारों के बच्चे शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। स्कूल में शिक्षक भी हैं और शिक्षा प्राप्त करने वाले बच्चे भी प्रयाप्त मात्रा में हैं। सब कुछ है लेकिन खेल विभाग की उदासीनता के चलते खेलों में रूचि रखने वाले खिलाडिय़ों में गहरा रोष है कि सरकार आखिर उन्हें सुविधाएं क्यों नही ंमुहैया करवा रही, आखिर उनका दोष क्या है?
खेल स्टेडियम में वीआईपी पार्किंग व सीटिंग स्टेयर का निर्माण विभागीय अधिकारियों की अनदेखी के कारण न हो पाने का यह मामला यहां तक ही सीमित नही है। बहुत से विभाग ऐसे हैं और बहुत से काम ऐसे हैं जो केवल विभाग तक ही सिमटे हुए हैं। नगर परिषद में भी इस तरह के अनेक मामले पड़े हैं जिनका एक-एक कर खुलासा किया जाए तो शब्द कम पड़ जाए। सरकारी योजनाएं फलीभूत नहीं हो पा रही। स्टेडिय मे संबंध में पंचायत अधिकारी से बात करनी चाही तो उनसे संपर्क नही हो पाया।

No comments:

IMPORTANT-------ATTENTION -- PLEASE

क्या डबवाली में BJP की इस गलती को नजर अंदाज किया जा सकता है,आखिर प्रशासन ने क्यों नहीं की कार्रवाई